Skip to main content

'Aparajita Center(OSCMCW)'
"अपराजिता (OSCMCW) केंद्र"
(Rajasthan GK For RAS Mains & other Competition Exams)


अपराजिता: वन स्टॉप क्राइसिस मैनेजमेन्ट सेंटर फॉर वीमेन- 

अपराजिता: वन स्टॉप क्राइसिस मैनेजमेन्ट सेंटर फॉर वीमेन (OSCMCW) केंद्र का उद्घाटन दिनांक 30 अगस्त, 2013 को राजकीय जयपुरिया अस्पताल, जयपुर में किया गया था। इस केंद्र का उद्देश्य हिंसा अथवा उत्पीडऩ की शिकार महिला को एक ही स्थान पर चिकित्सकीय, पुलिस, विधिक, परामर्श सेवाएं तथा अस्थायी आवास जैसी सुविधाएं एकल खिडक़ी के माध्यम से प्रदान करना है। यह विभिन्न विभागों जैसे- महिला एवं बाल विकास विभाग, चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग, गृहृ विभाग, सामाजिक न्याय व अधिकारिता विभाग, राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण, जिला प्रशासन तथा स्वयं सेवी संस्थाओं का एक समन्वित प्रयास है। यह केंद्र 24 घण्टे संचालित किये जाने का प्रावधान है। इस केंद्र के दूरभाष नम्बर 0141-2553763/2553764 है।

पीड़ित महिला के सीधे ही केंद्र पर आने अथवा उसे किसी अन्य माध्यम जैसे अस्पताल की आपातकालीन इकाई द्वारा, पुलिस स्टेशन, स्वयं सेवी संस्थान या घरेलू हिंसा से महिलाओं का संरक्षण अधिनियम के अंतर्गत नियुक्त संरक्षण अधिकारी द्वारा इस केंद्र पर रैफर किया जाने पर पीड़ित महिला को अविलम्ब उपरोक्त सुविधाएं राहत उपलब्ध करवाए जाने का प्रावधान है।
इस केन्द्र पर आने वाली प्रत्येक उत्पीड़ित महिला का रिकार्ड रखा जाता है तथा केंद्र पर आने वाली उत्पीडित़ महिला को प्रदान की गई सुविधाएं तथा उसके फॉलोअप का समस्त रिकार्ड इन्द्राज किए जाने तथा प्रतिमाह उसकी मासिक प्रगति रिपार्टे मुख्य सचिव महोदय को प्रस्तुत किए जाने का प्रावधान है इस केंद्र के संचालन हेतु राजकीय जयपुरिया अस्पताल के उपनियंत्रक नोडल अधिकारी नियुक्त है तथा निदेशालय महिला अधिकारिता में संचालित राज्य महिला सन्दर्भ केंद्र द्वारा इसका नियमित पर्यवेक्षण किया जाता है। राज्य स्तर पर इसके पर्यवेक्षण हेतु सभी सम्बन्धित विभागों के प्रतिनिधियों को मिलाकर प्रमुख शासन सचिव, महिला एवं बाल विकास विभाग की अध्यक्षता में एक राज्य स्तरीय पर्यवेक्षण समिति का गठन किया गया है।

Aparajita- One Stop Crisis Management Centre for Women (OSCMCW)-

The inauguration of 'Aparajita center- One Stop Crisis Management Centre for Women (OSCMCW)' was held on August 30, 2013 in Jaipuriya Govt. Hospital, Jaipur. The aim of this center was to provide medical, police, legal, consulting services and temporary housing facilities through a single window to the victim women of violence or harassment. This was a  coordinated effort of various departments - such as the Department of Women and Child Development, Medical and Health Department, Home Department, Department of Social Justice and Empowerment, State Legal Services Authority, the district administration and NGOs. There was a provision of 24 hours operation of this center. The center's phone number is 0141-2553763/2553764.
The above facilities and immediate relief is provided to victim woman coming directly or through any other medium like a emergency unit of a hospital, police station, NGO, or referred by a  Protection Officer appointed under the provision of Protection of Women from Domestic Violence Act.
The record of  each incoming harassed woman is kept at this center and there is a provision to record the facilities provided to the harassed woman incoming at the center and the follow-up action taken and monthly progress report is to be submitted to the Principal secretary. For conducting the center, Vice-controller of Government Jaipuria hospital is appointed as the nodal officer and regular supervision is done by State Woman Resource Center operated at Directorate of Woman Empowerment. For supervision of the centre, a state-level supervision committee, chaired by the Principal Secretary, Department of Women and Child Development was constituted at the state level, with representatives of the concerned departments.

Comments

  1. You are requested to send your queries/ mail or anything related to my complaints if any , pending with you ,on my email id asmita.seby@gmail.com. I asked repeatedly from the caller to share the same but she shared nothing. Plus she kept on asking me the details of the complaints though I did not register any of the complaint to the concerned helpline by myself.
    Kindly do clear it and send me the mail if you have anything related me.
    Thanks and regards
    Pratibha

    ReplyDelete

Post a Comment

Your comments are precious. Please give your suggestion for betterment of this blog. Thank you so much for visiting here and express feelings
आपकी टिप्पणियाँ बहुमूल्य हैं, कृपया अपने सुझाव अवश्य दें.. यहां पधारने तथा भाव प्रकट करने का बहुत बहुत आभार

Popular posts from this blog

Baba Mohan Ram Mandir and Kali Kholi Dham Holi Mela

Baba Mohan Ram Mandir, Bhiwadi - बाबा मोहनराम मंदिर, भिवाड़ी साढ़े तीन सौ साल से आस्था का केंद्र हैं बाबा मोहनराम बाबा मोहनराम की तपोभूमि जिला अलवर में भिवाड़ी से 2 किलोमीटर दूर मिलकपुर गुर्जर गांव में है। बाबा मोहनराम का मंदिर गांव मिलकपुर के ''काली खोली''  में स्थित है। काली खोली वह जगह है जहां बाबा मोहन राम रहते हैं। मंदिर साल भर के दौरान, यात्रा के दौरान खुला रहता है। य ह पहाड़ी के शीर्ष पर स्थित है और 4-5 किमी की दूरी से देखा जा सकता है। खोली में बाबा मोहन राम के दर्शन के लिए आने वाली यात्रियों को आशीर्वाद देने के लिए हमेशा “अखण्ड ज्योति” जलती रहती है । मुख्य मेला साल में दो बार होली और रक्षाबंधन की दूज को भरता है। धूलंड़ी दोज के दिन लाखों की संख्या में श्रद्धालु बाबा मोहन राम जी की ज्योत के दर्शन करने पहुंचते हैं। मेले में कई लोग मिलकपुर मंदिर से दंडौती लगाते हुए काली खोल मंदिर जाते हैं। श्रद्धालु मंदिर परिसर में स्थित एक पेड़ पर कलावा बांधकर मनौती मांगते हैं। इसके अलावा हर माह की दूज पर भी यह मेला भरता है, जिसमें बाबा की ज्योत के दर्शन करन

राजस्थान का प्रसिद्ध हुरडा सम्मेलन - 17 जुलाई 1734

हुरडा सम्मेलन कब आयोजित हुआ था- मराठा शक्ति पर अंकुश लगाने तथा राजपूताना पर मराठों के संभावित आक्रमण को रोकने के लिए जयपुर के सवाई जयसिंह के प्रयासों से 17 जुलाई 1734 ई. को हुरडा (भीलवाडा) नामक स्थान पर राजपूताना के शासकों का एक सम्मेलन आयोजित किया गया, जिसे इतिहास में हुरडा सम्मेलन के नाम  जाता है।   हुरडा सम्मेलन जयपुर के सवाई जयसिंह , बीकानेर के जोरावर सिंह , कोटा के दुर्जनसाल , जोधपुर के अभयसिंह , नागौर के बख्तसिंह, बूंदी के दलेलसिंह , करौली के गोपालदास , किशनगढ के राजसिंह के अलावा के अतिरिक्त मध्य भारत के राज्यों रतलाम, शिवपुरी, इडर, गौड़ एवं अन्य राजपूत राजाओं ने भाग लिया था।   हुरडा सम्मेलन की अध्यक्षता किसने की थी- हुरडा सम्मेलन की अध्यक्षता मेवाड महाराणा जगतसिंह द्वितीय ने की।     हुरडा सम्मेलन में एक प्रतिज्ञापत्र (अहदनामा) तैयार किया गया, जिसके अनुसार सभी शासक एकता बनाये रखेंगे। एक का अपमान सभी का अपमान समझा जायेगा , कोई राज्य, दूसरे राज्य के विद्रोही को अपने राज्य में शरण नही देगा ।   वर्षा ऋतु के बाद मराठों के विरूद्ध क

Civilization of Kalibanga- कालीबंगा की सभ्यता-
History of Rajasthan

कालीबंगा टीला कालीबंगा राजस्थान के हनुमानगढ़ ज़िले में घग्घर नदी ( प्राचीन सरस्वती नदी ) के बाएं शुष्क तट पर स्थित है। कालीबंगा की सभ्यता विश्व की प्राचीनतम सभ्यताओं में से एक है। इस सभ्यता का काल 3000 ई . पू . माना जाता है , किन्तु कालांतर में प्राकृतिक विषमताओं एवं विक्षोभों के कारण ये सभ्यता नष्ट हो गई । 1953 ई . में कालीबंगा की खोज का पुरातत्वविद् श्री ए . घोष ( अमलानंद घोष ) को जाता है । इस स्थान का उत्खनन कार्य सन् 19 61 से 1969 के मध्य ' श्री बी . बी . लाल ' , ' श्री बी . के . थापर ' , ' श्री डी . खरे ', के . एम . श्रीवास्तव एवं ' श्री एस . पी . श्रीवास्तव ' के निर्देशन में सम्पादित हुआ था । कालीबंगा की खुदाई में प्राक् हड़प्पा एवं हड़प्पाकालीन संस्कृति के अवशेष प्राप्त हुए हैं। इस उत्खनन से कालीबंगा ' आमरी , हड़प्पा व कोट दिजी ' ( सभी पाकिस्तान में ) के पश्चात हड़प्पा काल की सभ्यता का चतुर्थ स्थल बन गया। 1983 में काली