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What is Toycathon 2021 - क्या है टॉयकाथॉन-2021

What is Toycathon 2021 - क्या है टॉयकाथॉन-2021

केंद्रीय शिक्षा मंत्री रमेश पोखरियाल 'निशंक' और केंद्रीय महिला एवं बाल विकास तथा वस्त्र मंत्री स्मृति ईरानी ने संयुक्त रूप से टॉयकाथॉन-2021 का शुभारंभ किया। दोनों केंद्रीय मंत्रियों ने इस अवसर पर संयुक्त रूप से टॉयकाथॉन पोर्टल का भी लोकार्पण किया।

टॉयकाथॉन का उद्देश्य-

भारतीय मूल्य प्रणाली पर आधारित अभिनव खिलौनों की अवधारणा विकसित करना है, जो बच्चों के बीच सकारात्मक व्यवहार तथा अच्छे मूल्यों को विकसित करेगा।

टॉयकाथॉन 2021 के बारे में जानकारी:

'आत्मनिर्भर भारत' बनाने की राह में एक बड़ा कदम उठाते हुए शिक्षा मंत्रालय, महिला एवं बाल विकास मंत्रालय (एमडब्ल्यूसीडी), वस्त्र मंत्रालय, वाणिज्य एवं उद्योग मंत्रालय, सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यम मंत्रालय, सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय और अखिल भारतीय तकनीकी शिक्षा परिषद (एआईसीटीई) ने मिलकर संयुक्त रूप से टॉयकाथॉन-2021 को लॉन्च किया है।

यह एक विशेष प्रकार का हैकाथॉन है, जिसमें स्कूल और कॉलेजों के छात्रों तथा शिक्षकों, डिज़ाइन विशेषज्ञों, खिलौना विशेषज्ञों और स्टार्टअप्स एक साथ मिलकर नये विचारों को साझा करने का काम करेंगे। 

इसके ज़रिये भारतीय संस्कृति और लोकाचार, स्थानीय लोककथाओं तथा नायकों एवं भारतीय मूल्य प्रणालियों पर आधारित खिलौनों और खेलों को विकसित किया जायेगा। 

इतना ही नहीं, इससे भारत को खिलौनों और खेलों के लिए एक वैश्विक केंद्र के रूप में विकसित करने में मदद मिलेगी साथ ही यह हमारे बच्चों को राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 में परिकल्पित भारतीय संस्कृति के सदाचार संबंधी विचार तथा मूल्यों को समझने में भी मदद करेगा।

टॉयकाथॉन किन नौ विषयों पर आधारित है- 

  1. भारतीय संस्कृति, इतिहास, भारत और सांस्कृतिक मूल्यों का ज्ञान; 
  2. सीखना, अध्ययन और स्कूली शिक्षा; 
  3. सामाजिक तथा मानवीय मूल्य; 
  4. व्यवसाय एवं विशिष्ट क्षेत्र; 
  5. वातावरण; 
  6. दिव्यांग; 
  7. फिटनेस और खेल; 
  8. रचनात्मक एवं तार्किक सोच तथा 
  9. पारंपरिक भारतीय खिलौनों को फिर से तैयार/पुन: डिजाइन करना।

 1.Indian Culture, History, Knowledge of India and Ethos 

2.Learning, Education and Schooling 

3.Social and human values 

4.Occupations & specific fields 

5.Environment 

6.Divyang 

7.Fitness and sport 

8.Out of the box,creative and logical thinking 

9.Rediscovering/redesigning traditional Indian toys

 

टॉयकाथॉन के तीन स्तर- 

  1. जूनियर स्तर पर, 
  2. वरिष्ठ स्तर पर और 
  3. स्टार्ट अप स्तर पर। 
Track1:Junior Level Participants:For School Kids and Teachers 
Track2: Senior level participants: For Students and Faculty of HEIs 
Track3: Start-up & Professional: Toys Startup & Professional Toy Experts

कौन ले सकता है भाग -

इसमें स्‍टार्टअप और खिलौना विशेषज्ञों के अलावा स्‍कूलों, कॉलेजों तथा विश्‍वविद्यालयों के छात्रों एवं शिक्षकों को भागीदारी की अनुमति होगी। 

अपने विचार प्रस्तुत करने के लिए प्रतिभागियों के पास दो विकल्प होंगे; 

  1. वे या तो प्रकाशित माध्यम से किसी खिलौने को और बेहतर बनाने के लिए अपने विचार प्रस्तुत कर सकते हैं या 
  2. फिर खिलौना बनाने की नई संकल्पना की श्रेणी में अपनी प्रस्तुति दे सकते हैं। 

यह सबसे बेहतरीन समय है, जब हम अपनी भारतीय संस्कृति, परंपरा और विरासत तथा प्राचीन भारत की कहानियों एवं लोगों की मान्यताओं के प्रदर्शन के आधार पर प्रतिभाशाली रचनात्मक दिमागों का उपयोग कर रहे हैं।

 Categories of Toycathon

क्या है टॉयकाथॉन-2021
 Categories of Toycathon

श्री पोखरियाल ने कहा कि, भारत को वैश्विक खिलौना निर्माण केंद्र के रूप में विकसित करने के लिए टॉयकाथॉन का आयोजन किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि, भारत में खिलौना बाजार आर्थिक आधार पर लगभग एक अरब अमेरिकी डॉलर का है, लेकिन दुर्भाग्य से 80 प्रतिशत खिलौने भारत में आयात किए जाते हैं। श्री निशंक ने कहा कि, आज टॉयकाथॉन की शुरुआत वास्तव में सरकार द्वारा घरेलू खिलौना उद्योग और स्थानीय निर्माताओं के लिए एक इकोसिस्टम बनाने के लिए एक प्रयास है, साथ ही इसके माध्यम से अप्रयुक्त संसाधनों और इसकी क्षमताओं का दोहन करने की कोशिश की जा रहा है। उन्होंने प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी के 5 ट्रिलियन-डॉलर की अर्थव्यवस्था के दृष्टिकोण का भी ज़िक्र किया। शिक्षा मंत्री ने भारतीय खिलौना बाजार की विशाल क्षमता पर विचार करते हुए, सभी से खिलौना उद्योग में भारत को 'आत्मनिर्भर' बनाने का आह्वान किया। उन्होंने यह भी कहा कि, राष्ट्रीय शिक्षा नीति-2020 प्राथमिक शिक्षा के प्रारंभ से ही सीखने में नवाचार और शोध पर जोर देती है। श्री निशंक ने कहा कि, राष्ट्रीय शिक्षा नीति के लक्ष्य के साथ ही टॉयकाथॉन का लक्ष्य देश भर के 33 करोड़ छात्रों को नवीन कौशल से जोड़ने का है।

एक प्रेस कांफ्रेंस को संबोधित करते हुए श्रीमती स्मृति ज़ुबिन ईरानी ने कहा कि, भारत 80 प्रतिशत खिलौनों का आयात करता है और सरकार इस क्षेत्र में देश को आत्मनिर्भर बनाने के लिए स्वदेशी खिलौना उद्योग को बढ़ावा देने की दिशा में काम कर रही है। उन्होंने कहा कि, शिक्षा मंत्रालय के सहयोग से ही छात्रों का देश के सभी स्कूलों, कॉलेजों और विश्वविद्यालयों के संकायों के लिए मार्ग प्रशस्त होता है, छात्रों का आह्वान करके टॉयकाथॉन के ज़रिये 'आत्मनिर्भर भारत' बनाने की दिशा में कदम बढ़ाये जायेंगे। इस पहल की सराहना करते हुए केंद्रीय मंत्री ने कहा कि, "यह पहली बार है, जब स्कूली बच्चे विशेष रूप से दिव्यांग बच्चों के लिए भी नवाचार, डिजाइन और संकल्पना वाले खिलौने बनाएंगे"। श्रीमती ईरानी ने बताया कि, टॉयकाथॉन में भाग लेने वाले छात्रों और संकाय सदस्यों को 50 लाख रुपये तक के पुरस्कार दिये जाएंगे। उन्होंने कहा कि, वाणिज्य मंत्रालय और सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यम मंत्रालय ने खिलौना निर्माण उद्योग की सुरक्षा के लिए विभिन्न कदम उठाए हैं। इसे प्रतिस्पर्धी बनाने तथा खिलौनों के बारे में रासायनिक रूप से हानिकारक नहीं होने के संबंध में जागरूकता पैदा करने के लिए जो भी विशेष उपाय हैं, वे सभी शिक्षा मंत्रालय और महिला एवं बाल विकास मंत्रालय द्वारा अपनाएंगे।

टॉयकाथॉन-2021 में भाग लेने के लिए, कृपया https://toycathon.mic.gov.in देखें। 

प्रस्ताव 5 जनवरी से 20 जनवरी 2021 तक ऑनलाइन जमा किये जा सकते हैं।

Toycathon

Toycathon 2021 - टॉयकाथॉन-2021

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